कार्यशाला को संबोधित करते जिला पदाधिकारी
डोर टू डोर कचरा प्रबंधन के लिए एक रुपये प्रतिघर प्रतिदिन करें संग्रह ग्राम पंचायतों के ओडीएफ प्लस के लिए जन-भागीदारी को बढ़ावा देना आवश्यक है, विशेष तौर पर डोर टू डोर कचरा प्रबंधन के कार्य में समुदाय की का भी निर्देश दिया. भागीदारी सुनिश्चित करने के लिए उपयोगिता शुल्क संग्रहण को महत्वपूर्ण बताते हुए कहा कि अपशिष्ट प्रबंधन के कार्य प्रारंभ हो जाने वाले पंचायतों के सभी घरों से उपयोगिता शुल्क संग्रहण किया जाना अत्यावश्यक है. इसके लिए सभी ग्राम पंचायत अपने स्तर से (विभागीय दिशा-निर्देशानुसार न्यूनतम एक रुपये प्रति घर प्रतिदिन) शुल्क निर्धारित करते हुए शुल्क संग्रहण के लिए रसीद मुद्रित करवाकर लाभुकों को शुल्क लेने के उपरांत हस्ताक्षरित रसीद उपलब्ध कराने का निर्देश दिया.
इसी क्रम में संग्रहित उपयोगिता शुल्क की राशि को ग्राम पंचायत का एक अलग बैंक खाता खोलकर जमा करने एवं उससे संबंधित आय एवं व्यय में पारदर्शिता रखने का भी निर्देश दिया. संबोधन के क्रम में जिला पदाधिकारी ने मनरेगा से निर्मित या निर्माणधीन वेस्ट प्रोसेसिंग यूनिट स्थल के निकट या अन्य स्थल पर जहां कचरा का वर्तमान में निस्तारण किया जा रहा है. वहाँ अस्थायी शेड का निर्माण प्राथमिकता पर पूर्ण करवाकर एप से जियो टैगिंग पूरा कराने का निर्देश दिया।
31 ग्राम पंचायतों में यूजर चार्ज कलेक्शन का कार्य शुरू
कार्यशाला के दौरान जिला सलाहकार मो आफताब अनुभव साझा किया.
आलम ने ठोस एवं तरल कचरा प्रबंधन क्रियान्वयन के विभिन्न चरणों की जानकारी दी. इस क्रम में स्वच्छता से समृद्धि अभियान के लिए अपनाये जाने वाले कार्यक्रमों एवं नीतियों तथा उसके क्रियान्वयन के संबंध में पीपीटी के जरिए विस्तार से जानकारी दी. इसी कड़ी में जिला सलाहकार शशिकांत सिंह ठोस एवं तरल अपशिष्ट प्रबंधन के विभिन्न तकनीकों एवं यूजर चार्ज कलेक्शन पर विस्तारपूर्वक प्रस्तुति देते हुए ठोस एवं तरल अपशिष्ट प्रबंधन तथा यूजर चार्ज कलेक्शन की महता के संबंध में भी जानकारी साझा की. ज्ञात हो कि वर्तमान में जिले के 31 ग्राम पंचायतों में यूजर चार्ज कलेक्शन का कार्य प्रारंभ है. कार्यक्रम के दौरान बेगूसराय प्रखंड के शाहपुर ग्राम पंचायत तथा वीरपुर प्रखंड के वीरपुर पंचायत के मुखिया, साहेबपुर प्रखंड के समस्तीपुर ग्राम पंचायत के सचिव, भगवानपुर प्रखंड के बटनारीपुर ग्राम पंचायत के स्वच्छता पर्यवेक्षक तथा खोदावंदपुर प्रखंड के प्रखंड समन्वयक ने अपने-अपने क्षेत्र अंतर्गत ठोस एवं तरल अपशिष्ट प्रबंधन पर अपना अनुभव साझा किया।