समसा से बछवाड़ा जाने वाली बदहाल सड़क।
सांसद निधि से नवनिर्मित टूटी हुई सड़क का नजारा।मंसूरचक। जिला प्रशासन व जनप्रतिनिधियों के उपेक्षापूर्ण रवैया के कारण दस वर्षों से अधिक से समसा-बछवाड़ा पीडब्ल्यूडी सड़क जर्जर बनी है। करीब सात किलोमीटर लंबी यह सड़क सरकार के विकास के दावे की पोल खोल रही है। समसा पुल से बछवाड़ा स्टेशन बाजार तक सड़क पूरी तरह खाई बनी है। सड़क की जर्जरता के कारण प्रतिदिन गुजरने वाले मोटरसाइकिल सवार गिरकर घायल हो जाते हैं। इतना ही नहीं, सड़क की खाइयों में टेम्पो ई-रिक्शा की पलटने की घटना यहां रोजमर्रे की बात है। बारिश के दिनों में इस होकर राहगीरों को चलने पर भी संकट की स्थिति उत्पन्न रहती है।
मंसूरचक प्रखंड के साथ-साथ सीमावर्ती समस्तीपुर जिले के विभूतिपुर प्रखंड के दर्जनों गांवों के लोगों के लिए ट्रेन से यात्रा करने हेतु यह सुगम मार्ग है जो वर्षों से बदहाल है। सावन माह में सीमावर्ती दरभंगा समस्तीपुर से बड़ी संख्या में लोग झमटिया घाट जल भरने जाते हैं तथा इसी रास्ते से कुशेश्वरस्थान, हरिगिरिधाम आदि स्थानों पर जल चढ़ाने जाते हैं।
सड़क की जर्जरता के कारण लोगों को कठिनाइयों का सामना करना पड़ता है। चुनाव दर चुनाव बीत गये लेकिन उक्त सड़क निर्माण का अपना वादा नेताजी भूल गये। प्रखंड कांग्रेस अध्यक्ष बालेश्वर महतो कहते हैं कि लोग जान जोखिम में डालकर समसा से गड्ढे में सड़क ढूंढते बछवाड़ा पहुंच जाते हैं। उन्होंने कहा कि मंसूरचक के लोगों को अन्यत्र यात्रा करने व बछवाड़ा स्टेशन या राष्ट्रीय राजमार्ग जाने की मुख्य सड़क की जर्जरता के कारण यहां के लोगों को कठिनाइयों का सामना करना पड़ रहा है। उन्होंने जिलाधिकारी से शीघ्र पहल कर उक्त सड़क निर्माण कराने की मांग की है।
बखड्डा से एनएच 31 जाने वाली सड़क की स्थिति जर्जर
साहेबपुरकमाल
साहेबपुरकमाल। प्रखंड के बखड्डा गांव से एनएच-31 जाने वाली सड़क की स्थिति विगत कई साल से जर्जर बनी हुई है। कालीकरण हो चुकी सड़क में अब केवल मिट्टी बची हुई है। इससे राहगीरों को फजीहत झेलनी पड़ रही है। ग्रामीण कार्य विभाग के अंतर्गत आने वाली उक्त सड़क क्षेत्र की महत्वपूर्ण सड़कों में से एक मानी जाती है। करीब तीन पंचायत के लोगों के लिए एनएच 31 पर जाने के लिए यह महत्वपूर्ण है। लेकिन सड़क की स्थिति जर्जर होने के कारण लोग दूसरे रास्ते से लंबी दूरी तय कर एनएच 31 पर जाने को मजबूर होते हैं।
बखड्डा गांव निवासी सामाजिक कार्यकर्ता शाहिद इकबाल अतहर, पूर्व मुखिया भूषण शर्मा, गणेश महतो, बहोटी कुमार आदि कहते हैं कि उक्त सड़क जिस समय बन रही थी। तभी ग्रामीणों ने सड़क निर्माण में घटिया सामग्री के उपयोग को लेकर शिकायत की गयी थी। लेकिन अधिकारियों ने लोगों की शिकायत को अनसुना कर दिया। जिसका परिणाम यह हुआ कि सड़क समय से पहले जर्जर हो गया है।
लोगों की माने तो उक्त सड़क की मरम्मती के नाम पर भी खानापूर्ति कर छोड़ दिया गया। आलम यह है कि सड़क पर चलना मुश्किल हो गया। लोगों का कहना है कि यदि समय रहते सड़क निर्माण नहीं हुआ तो बारिश में इस सड़क में चलना दुश्वार हो जाएगा। लोग कहते हैं कि बखड्डा गांव के किसानों के लिए भी यह महत्वपूर्ण सड़क है। खराब सड़क के कारण फजीहत झेलनी पड़ती है।
लोगों को झेलनी पड़ रही परेशानी
भगवानपुर
भगवानपुर। प्रखंड क्षेत्र के बसही गांव से चुरामनचक गाँव होते हुए तेयाय ओपी तक जाने वाली सड़क जगह -जगह जर्जर हो गया है।इस सड़क से दहिया, भगवानपुर, ताजपुर, नरहरिपुर, बुचौली, मेहदौली आदि गांव के लोग विभिन्न कार्यों से अनुमंडल मुख्यालय तेघड़ा जाते हैं।दिनभर छोटे वाहनों व बाइक का आना जाना इसी सड़क से होता है।फिर भी इस सड़क की ओर किसी जन प्रतिनिधि या पदाधिकारी का नजर न पड़ रहा है। बरसात के दिनों में सड़क की हालत नारकीय हो जाती है।
बनने के कुछ दिन बाद से ही टूटने लगी सड़क
शाम्हो
शाम्हो
शाम्हो। शाम्हो गैस गोदाम से अकहा तक बनने वाली सांसद निधि की सड़क बनने के कुछ दिनों के भीतर ही टूटने लगी है। स्थानीय लोगों की माने तो सड़क का निर्माण अच्छे से नहीं किया गया है। विभाग के इंजीनियर की भी अनदेखी लोगों की समझ से परे है। टोटहा निवासी कन्हैया सिंह, चंदन सिंह, टिंकू सिंह आदि ग्रामीणों ने बनने के एक महीने के भीतर सड़क टूटने की घटना को घटिया निर्माण करार देते हुए विभाग से इस सड़क की मरम्मत कराने और सड़क को मजबूत बनाने के लिए इस पर ध्यान देने की मांग की है। शाम्हो जिला परिषद सदस्य अमित कुमार ने कहा कि इंजीनियर की लापरवाही के कारण सड़क बनाने में लापरवाही बरती गई है। इस यही वजह है सड़क बनने के साथ ही टूटने लगी है। साथ ही इस सड़क से गुजरने वाले ट्रैक्टर के कारण भी सड़क क्षतिग्रस्त हो रही है। कई बार ट्रैक्टर चालक काफी लापरवाही से गाड़ी चला रहे हैं। इस वजह से भी सड़क जल्दी टूट जा रही है। टिकाऊ बनाने की मांग की है।
जर्जर बन चुकी है दियारा की सड़क
बलिया
बलिया। बभन टोली ढाला से मसुदनपुर तक जाने वाली प्रधानमंत्री ग्राम सड़क की स्थिति काफी जर्जर हो चुकी है। इस कारण दियारा क्षेत्र के शिवनगर, साहपुर, मसूदनपुर, भवानंदपुर के अलावा मुंगेर जिले के कुतलूपुर पंचायत के गांवों के लगभग 20 हजार से अधिक की आबादी को आवागमन में भारी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। वर्तमान में इस सड़क की स्थिति ऐसी हो गयी है कि करीब 8 किलोमीटर के इस सड़क में कहीं भी कालीकरण नहीं बचा हुआ है।
इस सड़क में इतने बड़े बड़े गडढे़ बन गये हैं। कि छोटे से लेकर बड़े वाहनों का गुजरना भी काफी मुश्किल साबित हो रहा है। सड़क की जर्जर रहने के कारण प्रत्येक दिन छोटी मोटी दुर्घटनाएं भी होती ही रहती हैं। बावजूद सड़क के जीर्णोद्धार के प्रति स्थानीय प्रशासन से लेकर संबंधित विभाग के अधिकारी भी उदासीन दिख रहे हैं। इसका दंश दियारा वासियों को भुगतना पड़ रहा है।
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